श्रीमद् भगवद् गीता

श्रीमद् भगवद् गीता – Shrimad Bhagavad Gita

भगवद गीता का सार को समझना बच्चों को प्रेरित कर सकता है और उन्हें अच्छे संस्कार बढ़ने में मदद कर सकता है। भगवद गीता, या गीता, कुरुक्षेत्र युद्ध की शुरुआत से पहले भगवान कृष्ण और अर्जुन के बीच होने वाला संवाद है। भगवान कृष्ण की शिक्षाओं ने जीवन के बारे में अर्जुन के दृष्टिकोण और इस प्रकार, उनके जीवन पथ को बदलने में मदद की। ऐसा कहा जाता है कि श्रीमद्भगवद्गीता में हर समस्या का समाधान मिलता है।

जब भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को प्रेरित करने के लिए गीता ज्ञान दिया, तब उन 18 अध्यायों में उन्होंने जीवन के प्रत्येक पहलु पर प्रकाश डाला था और उनके बारे में ज्ञान दिया था ।

श्रीमद्भगवद्गीता क्या है? Shrimad Bhagavad Gita Kya Hai

श्रीमद्भगवद्गीता महाभारत ग्रंथ के भीष्मपर्व का एक प्रमुख अंग है। भगवद्गीता में 18 अध्याय और 700 श्लोक हैं। गीता सार और इसका सम्पूर्ण ज्ञान, आज से लगभग 4500 साल पहले श्रीकृष्ण के द्वारा अर्जुन को महाभारत के युद्ध में दिया गया था। महाभारत के इस युद्ध में अर्जुन अपने कर्म से पीछे हटकर युद्ध करने से मना कर देते हैं, तब श्रीकृष्ण उन्हें गीता ज्ञान देते हैं।

यह एक ऐसा ग्रन्थ है, जिसे आप जिस तरीके से समझना चाहो, वह आपका उसी प्रकार से मार्गदर्शन करेगा।

आज के समय में जीवन बहुत सी कठिनाइयों से भरा हुआ है। इंसान कदम कदम पर पर्सनल, प्रोफेशनल जैसी कई सारी समस्याओं का सामना कर रहा है। ऐसे में श्रीमद्भगवद्गीता को समझकर आप इन सभी समस्याओं का सामना कर सकते हैं।

आज श्रीमद्भगवद्गीता से सीखें कुछ ऐसी टिप्स, जिन्हें अपनाकर आप जीवन को सही ढंग से जीकर सभी समस्याओं का सामना कर सकते हैं –

  • परिवर्तन संसार का नियम है
  • लक्ष्य पर फोकस करना ज़रूरी
  • कर्म है बहुत ज़रूरी
  • सच की हमेशा जीत होती है
  • सब कुछ किसी कारण से होता है

श्रीमद्भगवद्गीता को पहली बार अर्जुन ने सुना था और उनकी सारी शंकाओ का समाधान हुआ था । उसके बाद से आज तक असंख्य लोग श्रीमद्भगवद्गीता से सीख लेकर अपना जीवन सुधार चुके हैं।

गीता के 18 अध्यायों में लिखा प्रत्येक श्लोक आपको कोई ना कोई सीख अवश्य देता है। यदि आप उसे पढ़कर समझने का प्रयास करें, तो आपकी सफलता निश्चित है।

Shrimad Bhagavad Gita

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