कन्हैया ओ कन्हैया
कन्हैया ओ कन्हैया छलिया ओ छलियाकैसा तू छलिया तेरी ही धुन में फिरूगलिया मैं गलिया ।। ना मैं तेरी राधा ना मैं तेरी मीराफिर तेरी बंसी कहे देती पीड़ा।। छिपके बैठा कहा ओ हरजाईअब तक तूने मेरी सुध नही पाईमथुरा में ढूढ़ु या वृंदावन जौबोलो कन्हैया तुझको कैसे मैं पाऔ।। मान का तो थोर है … Read more