बिना राम रघुनंदन अपना कोई नाइयो रे
कोयलिया बोली रे,अम्बुआ की डाल अपनो कोई नाइयो रे,बिना राम रघुनंदन अपना कोई नाइयो रे।। बाग लगाए बगीचा लगाए ,और लगाए केला रे बालम और लगाए केला।,जिस दिन राम प्राण निकल गयो रह गयो चांम अकेला,अपना कोई नहींआ रेबिना राम रघुनंदन अपना कोई नाइयो ,कोयलिया बोली रेअम्बुआ की डाल अपनो कोई नाइयो रेबिना राम रघुनंदन … Read more