
सँवारे म्हारे सँवारे सँवारे म्हारे सँवारे
थारे दर्शन बिना म्हारे श्याम कुछ भी ना भावे
भर भर आवे कालजे में रोग
थारे दर्शन बिना म्हारे श्याम कुछ भी ना भावे
सँवारे म्हारे सँवारे सँवारे म्हारे सँवारे
थारे दर पर आना चाहू जी
भर थारा दर्शन चाहू
थारे दर्शन बिना श्याम कुछ भी न भावे
थारे दर पर आके बाबा
भजनो से थे रिझाना चाहू
बिन सुनाये थाने दिल की हिवड़े ना माने
थारे दर्शन बिना श्याम कुछ भी न भावे
बहुत चाव से ओ म्हारा बाबा
थारा भोग लगाना चाहू
बिन थारी मनुहार के मनदो ना माने
थारे दर्शन बिना श्याम कुछ भी न भावे
थारे चरणों में म्हारे बाबा दीपक धोक लगाना चाहू
पग धूलि लिए चैन कोना आवे
थारे दर्शन बिना श्याम कुछ भी न भावे