क्यों लंका नगरी जारी बताओ हे बलकारी
सुनो बात हे बजरंग बालाकिया क्यों गड़बड़ घोटालाजो कहा नहीं था तुमसे वो क्यों तुमने कर डालाक्यों लंका नगरी जारी बताओ हे बलकारीमन हूँ अंजनी का लाला झूठों से पड़ा मेरा पालालंका नगरी वालों ने बदनाम मुझे कर डालीलंका मैंने ना जारी सुनो हे अवध बिहारी।। आपकी आज्ञा पाकर खोज रहे जनक लली कोके सागर … Read more